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शिक्षा

शिक्षा मंडल

शिक्षा मंडल

"वर्धा में स्थित शिक्षा मंडल का एक सशक्त इतिहास है जो एक सदी से भी पुराना है। श्री जमनलाल बजाज द्वारा स्थापित किया गया यह भारत के  स्वतंत्रता संग्राम और गांधीजी के विचारो से काफी प्रभावित था और स्वतंत्रता आंदोलन में एक सक्रिय भूमिका निभाता रहा। इस संस्था का शिक्षा के प्रति समर्पण राष्ट्रवादी मूल्यों पर आधारित था,  जिसके चलते, ब्रिटिश शासन द्वारा इस संस्था को बंद भी करना पड़ा था। विशेष रूप से, 1937 में भारत की पहली शिक्षा सम्मेलन का आयोजन यहाँ हुआ था जिसकी अध्यक्षता गांधीजी ने की थी।

1961 में एक और ग्रामीण संस्थान की स्थापना हुई, जो अर्थशास्त्र, कृषि और अभियांत्रिकी में पाठ्यक्रम प्रदान करती थी। बाद में यह तीन विभिन्न संस्थानों में विभाजित किया गया, जो इन विषयों में कार्यरत थे। 1962 में एक विज्ञान महाविद्यालय की भी स्थापना हुई और 2003 में एक कृषि कॉलेज की स्थापना हुई। शिक्षा मंडल आज भी अपने मूल पर आधारित उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा प्रदान कर रहा है, जो राष्ट्रवादी भावनाओं और मानवीय मूल्यों से प्रेरित है, और किफायती दामों पर सभी के लिए उपलब्ध है। शिक्षा मंडल को गर्व है अपनी विरासत को संजोए रखने का साथ ही अपने विचारो के आधुनिक युग के साथ ताल-मेल बनाये रखने का। योग्यता और सत्यनिष्ठा के अपने सिद्धांतों से ये संस्थान का संचालन करता है l"